दुनिया एक संसार है, और जब तक दुख है तब तक तकलीफ़ है।

Friday, February 15, 2008

मैं तन्हा रहकर भी ख़ुश हूँ... I am a lonely, lonely man...

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5 comments:

दिनेशराय द्विवेदी said...

गीत भी शानदार, स्वर भी, संगीत भी, कंपोजिंग भी और आप के द्वारा चिपकाया गया चित्र भी।
इसे बार बार सुन ने के लिए कैसे रिकॉर्ड किया जाए?

ghughutibasuti said...

बहुत सुन्दर ! बहुत मधुर ।
घुघूती बासूती

लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्` said...

इरफान भाई सारे ही गाने एक से एक बढ़कर हैं आपके जाल घर पे -
सुनकर , विस्मय और खुशी होती है !
Keep up the great work you r doing -
Rgds,
L

Yunus Khan said...

सुंदर बहुत सुंदर । दिलकश ।

मनीषा पांडे said...

बहुत सुंदर। आपकी संगीत की समझ और रुचि की दाद देनी होगी। लेकिन बचकर रहिए, जैसे अशोक की जान के पीछे पड़कर मैंने उनसे 18 जीबी का संगीत का खजाना हथियाया है, आपके ऊपर भी हमला हो सकता है।